कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार पर तीखा हमला किया है. कांग्रेस ने कहा है कि वह अपने तीसरे कार्यकाल के पहले 95 दिनों में अपने 100 दिनों के एजेंडे के वादों को पूरा करने में पूरी तरह फेल रहे हैं. पार्टी ने 7 प्रमुख क्षेत्रों का जिक्र करते हुए दावा किया कि सरकार राष्ट्रीय सुरक्षा से लेकर आर्थिक मुद्दों और शासन संबंधी खामियों से निपटने में हर क्षेत्र में नाकामयाब रही है. गौरतलब है कि 17 सितंबर को सरकार के 100 दिन पूरे हो जाएंगे. इसी दिन PM मोदी का 74वां जन्मदिन भी है.
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर एक पोस्ट में कहा, “बीते दिनों जम्मू और कश्मीर में खास तौर से जम्मू में आतंकवादी हमले हुए हैं जहां भारतीय सेना के कई बहादुर सैनिक शहीद हुए.” उन्होंने मणिपुर में जारी हिंसा का भी जिक्र किया जो 16 महीने से जारी है. उन्होंने मोदी पर एक बड़े आंतरिक संकट की उपेक्षा करने का आरोप लगाते हुए कहा, “मणिपुर जल रहा है और प्रधानमंत्री जी आपके पास राज्य को देखने का भी समय नहीं है.”
युवाओं को धोखा दे रही सरकार-खड़गे
मौजूदा वित्तीय बजट को ‘जनविरोधी’ बजट करार देते हुए कांग्रेस पार्टी ने आरोप लगाया कि यह बजट गरीबों और मध्यम वर्ग की कमर तोड़ने वाली बजट है. कांग्रेस अध्यक्ष ने प्रधानमंत्री और उद्योगपति गौतम अडानी से जुड़े वित्तीय हेर फेर के आरोपों का जिक्र करते हुए कहा, “मोदी-अडानी महाघोटाले और सेबी अध्यक्ष की चूक और कमीशन के नए खुलासे को अब और नहीं दबाया जा सकता.” खड़गे ने बेरोजगारी से निपटने के सरकार के तरीके पर भी अपनी नाराजगी जाहिर की. उन्होंने NEET पेपर लीक और कथित बेरोजगारी के व्यापक मुद्दों का हवाला देते हुए सरकार पर युवाओं को धोखा देने का आरोप लगाया.
‘एक्सप्रेसवे, पुल, सड़कें, सुरंगें, जो बनवाया टूट गया’
खड़गे ने कहा, “महाराष्ट्र में पूज्य छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा हो, हवाई अड्डों की छत हो, नई संसद हो या अयोध्या में भगवान राम का मंदिर हो, एक्सप्रेसवे, पुल, सड़कें, सुरंगें हों आपने जो भी बनाने का दावा किया है उन सभी में खामियां हैं.”
उन्होंने आगे सरकार पर रेलवे सुरक्षा को खतरे में डालने और बाढ़ से प्रभावित राज्यों को पर्याप्त राहत प्रदान करने में विफल रहने का आरोप लगाया. उन्होंने आरोप लगाया कि मोदी सरकार को ‘UPS में ‘U’ टर्न लेने और लेटरल एंट्री पर संविधान का समर्थन करने के लिए मजबूर होना पड़ा.’ खड़गे ने कहा, “कोई नहीं जानता कि 100 दिनों के लिए आपका एजेंडा क्या था. लेकिन 95 दिनों में देश आपकी निष्क्रियता के वजह से गंभीर परिणाम भुगत रहा है!”
क्या थी मोदी सरकार की योजना
आम चुनावों से पहले मोदी सरकार ने अपने पहले 100 दिनों के लिए एक महत्वाकांक्षी योजना तैयार की थी. इसका उद्देश्य अपने तीसरे कार्यकाल के लिए नींव तैयार करना था. इस एजेंडे में 50 से 70 लक्ष्य शामिल होने की उम्मीद थी जिन्हें 3 भागों में बांटा गया था- तत्काल (श्रेणी A), मध्यावधि (श्रेणी B), और दीर्घकालिक (श्रेणी C). श्रेणी A के उद्देश्य जो सबसे जरूरी थे, की घोषणा PMमोदी खुद करने वाले थे. श्रेणी B के उद्देश्यों को सरकार के पहले कुछ दिनों के अंदर केंद्रीय मंत्रियों द्वारा घोषित किया जाना था जबकि श्रेणी C के लक्ष्य को अगले 2 से 3 सालों में लागू किया जाना था.
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