Supreme Court On Bulldozer Action: सुप्रीम कोर्ट ने बुल्डोजर एक्शन पर रोक लगा दी है. जस्टिस बीआर गवई ने कहा कि सड़कों, गलियों, फुटपाथ या सार्वजनिक जगहों पर किए अवैध निर्माण को समुचित प्रक्रिया के साथ ढहाने की छूट रहेगी. लेकिन घरों पर बुलडोजर नहीं चलेगा. उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों में बुलडोजर से ध्वस्ती करण कार्रवाई के खिलाफ जमीयत उलमा ए हिंद ने याचिका दाखिल की थी. इसी बीच आज़ाद समाज पार्टी के अध्यक्ष और नगीना सीट से सांसद चंद्रशेखर आजाद ने प्रतिक्रिया दी.
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर चंद्रशेखर आज़ाद ने X पर लिखा, ”मैं, भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) भाजपा की सस्ती लोकप्रियता वाली बुलडोजर नीति के धुर विरोधी रहे. इससे कार्यपालिका द्वारा संविधान में वर्णित “शक्ति के पृथक्करण सिद्धान्त” का अतिक्रमण होता हैं और साथ ही “नागरिकों के संपत्ति के वैधानिक अधिकार” का अतिक्रमण भी.”
नगीना सांसद ने कहा, ”हमने कभी भी, किसी भी मामले में किसी पर “बुलडोजर की कार्यवाही” की माँग नहीं की. हम अवसरवादी नहीं हैं. न्याय-अन्याय की लड़ाई जाति-धर्म से ऊपर उठकर लड़ते हैं. माननीय उच्चतम न्यायालय का फैसला तानाशाही को रोकने वाला है. हम फैसले का स्वागत करते हैं.”
Supreme Court On Bulldozer Action
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने बुलडोजर की कार्रवाई पर रोक लगाते हुए कहा अगले आदेश तक कोर्ट की इजाजत के बिना किसी निर्माण को नहीं गिराया जाएगा. कोर्ट ने राज्य सरकारों को बुलडोज़र की कार्रवाई पर निर्देश देते हुए कहा कि इसका महिमांडन बंद होना चाहिए. क़ानूनी प्रक्रिया के तहत की अतिक्रमण हटाया जाए. कोर्ट के इस फैसले का विपक्षी दलों के नेताओं ने स्वागत किया है.
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